कायर तबही परषिये लड़े घणी के हेत
पुरिजा-पुरिजा ह्नै पडै, तऊ न छाँडै खेत
संत शिरोमणि कबीरदास जी कहते हैं कि बड़ी डींगें कायर ही हांका करते हैं, शूरवीर कभी बहकते नहीं। यह तो समय पर संकट आने पर ही जाना जा सकता है कि शूरवीर अपने आपको कौन प्रकट होता है।
मांगन मरण समान है, तोहि दई मैं सीख
कहैं कबीर समझे के मति कोई मांगे भीख
संत शिरोमणि कबीरदास जी कहते हैं कि किसी से मांगना मरने के समान है, संत कबीर समझाते हुए कहते हैं कि मैं तुम्हें शिक्षा देता हूँ कि कभी किसी से भिक्षा मत मांगो।
समाधि से जीवन चक्र स्वतः ही साधक के अनुकूल होता है-पतंजलि योग सूत्र
(samadhi chenge life stile)Patanjali yog)
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*समाधि से जीवन चक्र स्वतः ही साधक के अनुकूल होता
है।-------------------योगश्चित्तवृत्तिनिरोशःहिन्दी में भावार्थ -चित्त की
वृत्तियों का निरोध (सर्वथा रुक ज...
3 years ago
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